Search here

Tuesday, April 21, 2020

राग देवगिरि बिलावल का परिचय

वादी: सा
संवादी: 
थाट: BILAWAL
आरोह: साऩिध़ सारेग गमरेग गप निध निसां
अवरोह: सांधनि॒प गमनि॒धप मग रेगरेसा
पकड़: सा ऩिध़ सारेग मग रेसा
रागांग: पूर्वांग
जाति: SAMPURN-SAMPURN
समय: दिन का प्रथम प्रहर
विशेष: 
बहुत्व-म। 
अल्पत्व-म॓। 
कल्याण और बिलावल का मिश्रण। न्यास-ग और प। 
यमनी बिलावल की छाया से बचाव-गपमगरेसा का प्रयोग।

No comments:

Post a Comment